विश्वविद्यालय व कॉलेज का परिचय

महात्मा ज्योतिबा फुले रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय, बरेली

एक राज्य विश्वविद्यालय - उत्तर प्रदेश सरकार; NAAC से मान्यता प्राप्त; ISO 9001:2015 प्रमाणित

एक परिचय :

उन्नीसवीं शताब्दी में जन्मे ज्योतिराव गोविंदराव फुले (जन्म-11 अप्रैल 1827, मृत्यु-28 नवम्बर 1890) को महात्मा फुले एवं ज्योतिबाफुले के नाम से भी जाना जाता है। उन्हीं के नाम पर हमारे विश्वविद्यालय का नाम ‘महात्मा ज्योतिबा फुले रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय‘ बरेली रखा गया है।

महात्मा ज्योतिबा फुले

 महात्मा ज्योतिबा फुले महान समाजसेवी, शिक्षाविद्, लेखक, दार्शनिक, क्रान्तिकारी तथा विचारक थे। महाराष्ट्र में सितम्बर 1873 में महात्मा ज्योतिबा फुले जी ने ‘सत्यशोधक समाज’ नामक संस्था का गठन करके महिलाओं, पिछडों एवं दलितों के उत्थान के लिए अनेकों उल्लेखनीय कार्य किये। समाज के सभी वर्गों को तर्क आधारित शिक्षा प्रदान करने के ये प्रबल समर्थक थे।

साहू जैन कॉलेज

एक परिचय :

साहू जैन कॉलेज, नजीबाबाद – उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा सहायता प्राप्त नगर का एकमात्र सहशिक्षा संस्थान है। यह कॉलेज महात्मा ज्योतिबा फुले रुहेलखण्ड विश्वविद्यालय, बरेली से सम्बद्ध तथा विश्वविद्यालय अनुदान आयोग, नई दिल्ली द्वारा धारा-2F  तथा धारा-12B  में पंजीकृत है। कॉलेज में तीन संकाय; कला, विज्ञान एवं वाणिज्य में पठन-पाठन की सुविधा है। कॉलेज का क्षेत्रफल 10.5 एकड़ है जिसमें पृथक-पृथक प्रशासनिक भवन, विज्ञान भवन, कला एवं वाणिज्य भवन, पाठ्य सहगामी कार्यक्रमों के लिये भवन तथा वर्धमान जैन नामक पुस्तकालय स्थित है। सभी भवन भव्य, आकर्षक, विशाल एवं आधुनिक सुविधाओं से युक्त हैं। प्रयोगशालायें आधुनिक उपकरणों से सुसज्जित हैं। कॉलेज में स्ट्रीट लाइट की व्यवस्था है। सी.सी.टी.वी. कैमरे से महाविद्यालय परिसर की निगरानी होती है। छात्र-छात्राओं को आधुनिक शिक्षण सामग्री से परिचित कराने के लिये स्मार्ट कक्षायें निर्मित की गयी हैं। कॉलेज अपने गौरवशाली अतीत के अनुरूप पूरी जीवंतता के साथ ज्ञान-विज्ञान की दिशा में नयी ऊंचाईयां छू रहा है।

दानवीर, साहित्य प्रेमी, शिक्षाविद्, प्रसिद्ध उद्योगपति सेठ श्री शांति प्रसाद जैन एवं उनकी धर्मपत्नी श्रीमती रमा जैन ने अपने विद्या एवं शिक्षा प्रेम के कारण 1966 में साहू जैन कॉलेज स्थापित कर नगर में उच्च शिक्षा की कमी को पूरा किये जाने का प्रशंसनीय कार्य किया। महाविद्यालय के संस्थापकों की कामना थी कि यह एक प्रगतिशील और आदर्श संस्था बने जहाँ विद्यार्थियों का चारित्रिक, बौद्धिक और पूर्ण शैक्षिक विकास हो। अपने पूजनीय माता-पिता के महान उद्देश्यों को साकार करने एवं महाविद्यालय के स्तर में गुणात्मक सुधार लाने के लिए स्वर्गीय साहू श्री अशोक कुमार जैन (भूतपूर्व अध्यक्ष, टाइम्स ऑफ़ इण्डिया, नई दिल्ली) एवं उनकी धर्मपत्नी स्वर्गीय श्रीमती इन्दु जैन के सद्प्रयासों से वर्ष 1966 में स्थापित यह पौधा, आज एक विशाल वृक्ष का रूप धारण करता हुआ अपने लक्ष्य की ओर निरन्तर अग्रसर है।

प्रबन्धक श्री धर्मेश पारीक के कुशल नेतृत्व तथा प्रबन्ध समिति के सदस्यों के सद्दिशा निर्देशन में नजीबाबाद क्षेत्र की यह संस्था चतुर्मुखी प्रगति करती हुई विश्वविद्यालय एवं प्रदेश की अग्रणी शिक्षण संस्था के रूप में प्रतिष्ठित है।

कर्मशील प्राचार्य प्रोफेसर नरेन्द्र पाल सिंह, विद्वान शिक्षकों एवं कुशल सहकर्मियों के सहयोग से अपनी गौरवमयी समृद्ध परम्पराओं को सहेजते हुए साहू जैन महाविद्यालय अदम्य उत्साह, आत्मविश्वास, दृढ़ इच्छाशक्ति और नये संकल्पों के साथ सफलता के नये आयाम छू रहा है।